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हरी मटर के सेवन के दुष्प्रभाव: जानें किन्हें करना चाहिए परहेज

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हरी मटर: एक लोकप्रिय सब्जी

हरी मटर के दुष्प्रभाव: सर्दियों में बाजार में कई प्रकार की सब्जियाँ उपलब्ध होती हैं, जिनमें हरी मटर एक लोकप्रिय विकल्प है। इसे कई लोग पसंद करते हैं और इसे कच्चा भी खाया जा सकता है।


मटर में विटामिन सी, ई, जिंक, आयरन, मैंगनीज, कॉपर, एंटीऑक्सीडेंट और फाइबर जैसे महत्वपूर्ण पोषक तत्व होते हैं। हालांकि, कुछ लोगों के लिए यह हानिकारक हो सकती है। आइए जानते हैं इसके दुष्प्रभाव।


हरी मटर के सेवन से होने वाले दुष्प्रभाव

हालांकि हरी मटर में कई पोषक तत्व होते हैं, लेकिन इसका अत्यधिक सेवन स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हो सकता है। कुछ लोगों के लिए यह विषाक्त भी साबित हो सकती है।


किसे नहीं खानी चाहिए हरी मटर?


मटर में मौजूद पोषक तत्व जैसे विटामिन सी और ई, जिंक, आयरन, मैंगनीज, तांबा, एंटीऑक्सीडेंट और फाइबर होते हैं। लेकिन जिन लोगों को मधुमेह, कब्ज, पेट की समस्याएँ या गैस की समस्या है, उन्हें मटर का सेवन नहीं करना चाहिए।


गुर्दे की पथरी: गुर्दे की समस्याओं से ग्रस्त व्यक्तियों को हरी मटर का सेवन करते समय सावधानी बरतनी चाहिए। मटर में प्यूरीन होता है, जो यूरिक एसिड में परिवर्तित हो जाता है और गुर्दे की पथरी का खतरा बढ़ा सकता है।


हरी मटर में गैस्ट्रिक फाइटिक और लेक्टिन होते हैं, जो सूजन जैसी समस्याएँ उत्पन्न कर सकते हैं। अधिक मात्रा में मटर खाने से पेट में दर्द और सूजन हो सकती है।


मटर में कार्बोहाइड्रेट और चीनी की मात्रा होती है, जो शर्करा के स्तर को बढ़ा सकती है। इसलिए, मधुमेह के रोगियों को इसे सीमित मात्रा में ही खाना चाहिए।


अत्यधिक मटर खाने से शरीर में पोषक तत्वों की कमी भी हो सकती है, क्योंकि इसमें मौजूद लेक्टिन और फाइटिक एसिड पोषक तत्वों के अवशोषण में बाधा डालते हैं।


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