देहरादून, 8 अक्टूबर . उत्तराखंड में चारधाम यात्रा के दूसरे चरण में हेली सेवाएं अब ज्यादा सुरक्षित हो गई हैं.
भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण, डीजीसीए (नागर विमानन महानिदेशालय) और उत्तराखंड नागरिक उड्डयन विकास प्राधिकरण (युकाडा) की सख्त निगरानी में सेवाएं चलाई जा रही हैं.
इस बार सुरक्षा बढ़ाने के लिए हेलीपैड पर cctv कैमरे लगाए गए हैं और हेलीकॉप्टर में रिकॉर्डिंग सिस्टम भी सक्रिय किया गया है. केदारघाटी में एक समय पर सिर्फ चार हेलीकॉप्टर उड़ाए जा रहे हैं और हर घंटे की शटल सीमा तय की गई है. हेली सेवाएं गुप्तकाशी, फाटा और सिरसी से शुरू हो रही हैं, जहां कई हेली कंपनियां यात्रियों को केदारनाथ धाम तक पहुंचा रही हैं. हालांकि, खराब मौसम में हेलीकॉप्टर शटल सेवा बंद रखी जा रही है.
युकाडा के सीईओ आशीष चौहान ने बताया कि 15 सितंबर को यात्रा फिर से शुरू की गई थी. उस समय शटल की संख्या और यात्रियों की संख्या 1,000 से 1200 तक सीमित रखी गई थी. सात ऑपरेटर्स के जरिए यह सेवा शुरू हुई.
उन्होंने बताया कि सुरक्षा को सबसे पहले रखा गया और डीजीसीए व भारतीय मौसम विभाग (आईएमडी) की टीमें लगातार निगरानी कर रही हैं. नई यात्रा 7 अक्टूबर से शुरू हुई, जो 21 अक्टूबर तक चलेगी.
उन्होंने भरोसा दिलाया कि इस दौरान कोई अप्रिय घटना नहीं होगी. उन्होंने बताया कि हाल के हेलीकॉप्टर हादसों के बाद डीजीसीए ने कुछ शर्तें रखी थीं, जिन्हें शॉर्ट टर्म में पूरा किया गया. डीजीसीए की अनुमति से ही यात्राएं शुरू की गईं. आने वाले सीजन में व्यवस्था को ज्यादा बेहतर करने के लिए काम चल रहा है. उनका मकसद यात्रा को पूरी तरह सुरक्षित बनाना है.
चौहान ने कहा कि हर कदम पर सावधानी बरती जा रही है ताकि यात्रियों को कोई परेशानी न हो.
यह कदम चारधाम यात्रा को सुरक्षित और सुचारु बनाने की दिशा में बड़ा प्रयास है. वहीं, यात्रियों से अपील की गई है कि वे मौसम की जानकारी चेक करें और हेली सेवा से पहले सावधानियां बरतें.
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एसएचके/एबीएम
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